किशोर भारती स्टेडियम में बुधवार शाम बेंगलुरु एफसी (Bengaluru FC) ने अपने अनुभव और स्टार खिलाड़ियों के दम पर मोहम्मडन स्पोर्टिंग क्लब (Mohammedan SC) को हराकर एक शानदार जीत दर्ज की। इंडियन सुपर लीग (ISL) के नौवें मैच में बेंगलुरु ने 2-1 से जीत हासिल की। यह मुकाबला बेहद रोमांचक रहा, जिसमें बेंगलुरु के कप्तान और भारतीय फुटबॉल के दिग्गज सुनील छेत्री (Sunil Chhetri) ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
मैच का पहला हाफ: मोहम्मडन की तेज शुरुआत
मैच की शुरुआत से ही मोहम्मडन स्पोर्टिंग आक्रामक खेल दिखा रही थी। खेल के आठवें मिनट में लबी मंजोकी ने एक शानदार गोल कर अपनी टीम को बढ़त दिलाई। मोहम्मडन के मिडफील्डर फ्रांका और एलेक्सिस गोमेज़ ने कई आक्रामक मूव बनाए, लेकिन बेंगलुरु के गोलकीपर गुरप्रीत सिंह संधू ने उन्हें गोल करने से रोकने में कामयाबी पाई।
पहले हाफ के खत्म होने तक मोहम्मडन 1-0 की बढ़त बनाए हुए थी। घरेलू दर्शकों की उत्साहवर्धक उपस्थिति ने सुभाषिश बोस की अगुवाई वाली मोहम्मडन टीम को ऊर्जा दी।
दूसरे हाफ में बेंगलुरु की वापसी
दूसरे हाफ में बेंगलुरु एफसी ने अपनी रणनीति में बदलाव किया। कोच गेरार्ड जरागोजा ने मैदान पर स्टार स्ट्राइकर सुनील छेत्री को उतारा। छेत्री के मैदान पर आते ही बेंगलुरु का खेल पूरी तरह बदल गया। उनके अनुभव और नेतृत्व ने टीम को ऊर्जा दी।
मैच के 81वें मिनट में बेंगलुरु को पेनल्टी किक मिली, जब मोहम्मडन के एक डिफेंडर ने बॉक्स के अंदर फाउल कर दिया। इस मौके को भुनाते हुए सुनील छेत्री ने शानदार पेनल्टी गोल किया और अपनी टीम को बराबरी पर ला दिया।
निर्णायक आत्मघाती गोल
मैच का नाटकीय मोड़ अतिरिक्त समय में आया। बेंगलुरु ने आक्रामक खेल जारी रखा, और सुनील छेत्री ने विपक्षी डिफेंडरों पर दबाव बनाना शुरू किया। अतिरिक्त समय के नौवें मिनट में मोहम्मडन के डिफेंडर फ्लोरेंट ओगियर ने गलती से गेंद को अपने ही गोल पोस्ट में मार दिया, जिससे बेंगलुरु को 2-1 की बढ़त मिल गई।
बेंगलुरु की रणनीति का कमाल
बेंगलुरु की जीत में उनकी रणनीति और सुनील छेत्री की उपस्थिति निर्णायक रही। छेत्री ने न केवल गोल किया, बल्कि अपने अनुभव का उपयोग कर टीम को संकट से बाहर निकाला। गुरप्रीत सिंह संधू की गोलकीपिंग भी प्रशंसनीय रही, जिन्होंने पहले हाफ में मोहम्मडन के कई आक्रमणों को नाकाम किया।
मोहम्मडन की कोशिशें बेकार
मोहम्मडन स्पोर्टिंग ने मैच के शुरुआती मिनटों में शानदार प्रदर्शन किया, लेकिन दूसरे हाफ में उनकी रक्षात्मक कमजोरियां उजागर हो गईं। कोच आंद्रे चेरनिशेव की टीम ने बेंगलुरु के आक्रमण को रोकने की पूरी कोशिश की, लेकिन सुनील छेत्री जैसे अनुभवी खिलाड़ी को रोक पाना उनके लिए मुश्किल साबित हुआ।
जीत के मायने
इस जीत के साथ बेंगलुरु एफसी ने महत्वपूर्ण तीन अंक अर्जित किए। यह जीत न केवल उन्हें अंक तालिका में ऊपर ले जाएगी, बल्कि टीम का आत्मविश्वास भी बढ़ाएगी। दूसरी ओर, मोहम्मडन स्पोर्टिंग को अपनी रक्षात्मक रणनीति पर फिर से काम करना होगा।
छेत्री का प्रदर्शन: उम्र को चुनौती
सुनील छेत्री ने एक बार फिर साबित कर दिया कि उम्र उनके लिए सिर्फ एक संख्या है। उन्होंने मैदान पर जिस ऊर्जा और कौशल का प्रदर्शन किया, वह युवा खिलाड़ियों के लिए प्रेरणा है।
फैंस का उत्साह
किशोर भारती स्टेडियम में दर्शकों की भारी भीड़ मौजूद थी। हालांकि घरेलू टीम की हार से स्थानीय प्रशंसक निराश हुए, लेकिन सभी ने सुनील छेत्री की खेल भावना और कौशल की तारीफ की।
अगले मुकाबलों पर नजर
बेंगलुरु एफसी अब अपनी इस जीत की लय को बरकरार रखना चाहेगी। वहीं, मोहम्मडन स्पोर्टिंग को अपनी कमजोरियों पर ध्यान देकर अगले मैचों में सुधार करना होगा।
सुनील छेत्री की लीडरशिप और बेंगलुरु एफसी की रणनीति ने एक बार फिर उन्हें विजेता बना दिया। मोहम्मडन स्पोर्टिंग ने शुरुआती बढ़त तो हासिल की, लेकिन सुनील छेत्री के अनुभव के आगे उनकी चुनौती कमजोर पड़ गई।
हाइलाइट्स:
लबी मंजोकी ने मोहम्मडन को शुरुआती बढ़त दिलाई।
सुनील छेत्री ने 81वें मिनट में पेनल्टी के जरिए बराबरी का गोल किया।
फ्लोरेंट ओगियर के आत्मघाती गोल ने बेंगलुरु को जीत दिलाई।
क्या कहते हैं आंकड़े:
मैच का स्कोर: बेंगलुरु एफसी 2-1 मोहम्मडन स्पोर्टिंग
बेंगलुरु के लिए छेत्री का गोल निर्णायक रहा।
आत्मघाती गोल ने मैच का पासा पलटा।
बेंगलुरु एफसी अब अपनी नजरें आगामी मैचों पर टिकाए हुए है, जबकि मोहम्मडन को अपनी गलतियों से सीखने की जरूरत है।