drone – Ekolkata24: Latest Hindi News Updates from Kolkata – Breaking Stories and More https://ekolkata24.com Stay updated with Ekolkata24 for the latest Hindi news, headlines, and Khabar from Kolkata, West Bengal, India, and the world. Trusted source for comprehensive updates Mon, 10 Jun 2024 11:05:28 +0000 en-US hourly 1 https://ekolkata24.com/wp-content/uploads/2024/03/cropped-ekolkata24-32x32.png drone – Ekolkata24: Latest Hindi News Updates from Kolkata – Breaking Stories and More https://ekolkata24.com 32 32 पहाड़ी में छिपे हैं रियासी आतंकी, ड्रोन की मदद से जंगल खंगाल रही सेना https://ekolkata24.com/uncategorized/security-forces-conduct-search-operation-in-the-forest Mon, 10 Jun 2024 11:05:28 +0000 https://ekolkata24.com/?p=48169 श्रीनगर: जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले में तीर्थयात्रियों को ले जा रही बस पर आतंकवादियों के हमले के बाद सुरक्षा बलों ने सोमवार सुबह बड़े पैमाने पर तलाश अभियान शुरू कर लिया है। सुरक्षा टीम को इनपुट मिले हैं कि आतंकी रियासी की पहाड़ी में छिपे हैं। सेना की टीम पूरा जंगल खंगाल रही है। सेना की टीम ड्रोन की भी मदद ले रही है। इससे पहले यह जानकारी सामने आई थी कि इस आतंकी हमले के पीछे पाकिस्तान स्थित आतंकी संगठन लश्कर का हाथ है। आतंकियों ने हमले का समय जानबूझकर पीएम मोदी के शपथ ग्रहण के दौरान का रखा था।

रविवार शाम को शिव खोरी मंदिर से कटरा की ओर जा रही एक बस पर रविवार शाम को आतंकवादियों ने हमला कर दिया जिससे बस के रनसू के पास कांडा मोड़ पर एक खाई में गिर जाने से 10 तीर्थयात्रियों की मौत हो गई और 33 घायल हो गए। जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने सोमवार को कहा कि रियासी में आतंकवादियों के खिलाफ एक संयुक्त अभियान शुरू किया गया है। उन्होंने कहा कि बस हमले के दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा।

आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि भारतीय सेना, पुलिस और विशेष अभियान समूह की संयुक्त टीम ने सूरज उगने के साथ ही आतंकवादियों का पता लगाने के लिए घटनास्थल और आसपास के इलाकों में तलाश अभियान शुरू कर दिया है। ऐसी जानकारी हाथ लगी है कि आतंकी रियासी की पहाड़ियों में छिपे हैं। उनकी खोजबीन के लिए जंगलों में ड्रोन का भी इस्तेमाल किया जा रहा है।

जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने हमले की निंदा की और इसके पीछे के लोगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई का आश्वासन दिया है। उन्होंने कहा, “प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्थिति का जायजा लिया और मुझसे स्थिति पर लगातार नजर रखने को कहा है। इस जघन्य कृत्य के पीछे के सभी लोगों को जल्द ही दंडित किया जाएगा। पीएम मोदी ने यह भी निर्देश दिया है कि सभी घायलों को सर्वोत्तम संभवृ चिकित्सा देखभाल और सहायता प्रदान की जाए।”

उपराज्यपाल सिन्हा ने कहा कि जम्मू-कश्मीर के डीजीपी अपनी टीम के साथ मौके पर हैं। “पहली प्राथमिकता घायलों को बचाना है। मैंने प्रधानमंत्री और गृह मंत्री से बात की है और मैं लोगों को आश्रस्त करता हूं कि हमले के लिए जो भी जिम्मेदार है, उसे बख्शा नहीं जाएगा।”

उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने रियासी आतंकवादी हमले में मारे गए तीर्थयात्रियों के परिजनों को 10-10 लाख रुपये की अनुग्रह राशि देने की मंजूरी दी। सिन्हा ने ऐलान किया कि घायलों को 50-50 हजारॉ रुपये दिये जाएंगे।

दूसरी तरफ एनआईए की एक टीम ने जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले में पहुंचकर बस पर हुए आतंकवादी हमले की जांच शुरू कर दी है। एनआईए की टीम स्थानीय पुलिस के साथ जांच कर रही है।

 

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Defence: নজিরবিহীন কাজ করে তাক লাগাল প্রতিরক্ষা মন্ত্রক https://ekolkata24.com/uncategorized/defence-surveys-17-78-lakh-acres-of-defence-land-in-over-three-years Sun, 09 Jan 2022 09:26:43 +0000 https://ekolkata24.com/?p=18544 ফের সাড়া ফেলে দিল ভারতীয় প্রতিরক্ষা মন্ত্রক (Ministry Of Defence) । স্বাধীনতার পর এই ধরনের প্রথম ব্যাপক মহড়ায় সরকার ত্রিমাত্রিক মডেলিং, ড্রোন এবং স্যাটেলাইট ইমেজারির মতো সর্বশেষ প্রযুক্তি ব্যবহার করে ১৭.৭৮ লক্ষ একর প্রতিরক্ষা জমি জরিপ করে ফেলল। যা ভারতীয় ইতিহাসে কার্যত নজিরবিহীন। এই সার্ভে চালানো হয় রাজস্থানে।

প্রতিরক্ষা মন্ত্রক জানিয়েছে, ২০১৮ সাল থেকে ক্যান্টনমেন্টের ভিতরে প্রায় ১.৬১ লক্ষ একর এবং ক্যান্টনমেন্টের বাইরে ১৬.১৭ লক্ষ একর প্রতিরক্ষা জমি মাপার কাজ শুরু হয়েছিল এবং এখন শেষ হয়েছে। স্বাধীনতার পর প্রথমবারের মতো সর্বশেষ প্রযুক্তি ব্যবহার করে পুরো প্রতিরক্ষা জমি জরিপ করা হয়েছে। মন্ত্রক জানিয়েছে, স্থলধারণের মাত্রা, প্রায় ৪,৯০০ পকেটে জমির অবস্থান, অনেক জায়গায় দুর্গম ভূখণ্ড এবং এই কাজের সঙ্গে জড়িত বিভিন্ন স্টেক হোল্ডাররা এই ঘটনাকে বৃহত্তম সার্ভের আখ্যা দিয়েছেন। এক রিপোর্টে বলা হয়েছে, ইলেকট্রনিক টোটাল স্টেশন, ডিফারেনশিয়াল গ্লোবাল পজিশনিং সিস্টেমের পাশাপাশি ড্রোন এবং স্যাটেলাইট ইমেজারির মতো আধুনিক জরিপ প্রযুক্তিগুলি “নির্ভরযোগ্য, শক্তিশালী এবং সময়-আবদ্ধ” ফলাফল নিশ্চিত করতে ব্যবহার করা হয়েছিল। প্রতিরক্ষা মন্ত্রক জানিয়েছে, “এই প্রথম রাজস্থানের লক্ষ লক্ষ একর প্রতিরক্ষা জমি জরিপের জন্য ড্রোন চিত্রভিত্তিক সমীক্ষা প্রযুক্তি ব্যবহার করা হয়েছিল। কয়েক সপ্তাহের মধ্যে ভারতের সার্ভেয়ার জেনারেলের সহায়তায় পুরো এলাকাটি জরিপ করা হয়েছিল, যা আগে বছরের পর বছর ধরে করা হত। উপগ্রহ চিত্র-ভিত্তিক জরিপ প্রথমবারের মতো অনেক প্রতিরক্ষা ভূমি পকেটের জন্য পরিচালিত হয়েছিল।”

ভাবা অ্যাটমিক রিসার্চ সেন্টারের (বিএআরসি) সহযোগিতায় ডিজিটাল এলিভেশন মডেল ব্যবহার করে পার্বত্য অঞ্চলে প্রতিরক্ষা জমির আরও ভাল দৃশ্যায়নের জন্য ত্রিমাত্রিক মডেলিং কৌশলও চালু করা হয়েছে বলে জানিয়েছে মন্ত্রক। মন্ত্রকের তরফ থেকে আরও জানানো হয়েছে, জরিপের অংশ হিসেবে প্রতিরক্ষা জমিতে জবরদখল শনাক্তকরণের জন্য ‘টাইম সিরিজ স্যাটেলাইট ইমেজারি’র উপর ভিত্তি করে রিয়েল টাইম চেঞ্জ ডিটেকশন সিস্টেমের একটি প্রকল্পও শুরু করা হয়েছে।

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